AMBIKAPUR: आज के आर टेक्निकल कॉलेज में “स्नातक प्रथम सेमेस्टर” में प्रवेश लिए छात्रों के लिए स्वागत समारोह का हुआ आयोजन………….राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के विभिन्न आयामो से कराया गया सबका परिचय
के आर टेक्निकल कॉलेज अंबिकापुर के सभागार में आज आईक्यूएसी, स्टुडेंट युनियन और स्टुडेंट एसोसिएशन सेल के संयुक्त तत्वावधान में राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रावधानों के अनुसार स्नातक स्तर पर इस वर्ष के आरम्भ किये गए बीसीए, बीबीए, बीकॉम, बीएससी और बीए प्रथम सेमेस्टर के छात्रों के लिए स्वागत समारोह का आयोजन किया गया।
इस कार्यक्रम में शासी निकाय के उपाध्यक्ष श्री राहुल जैन, महाविद्यालय की डायरेक्टर श्रीमती रीनू जैन, प्राचार्य डॉ रितेश वर्मा, आइक्यूएसी और नैक समन्वयक मोहम्मद अफरोज अंसारी, स्टुडेंट युनियन समन्वयक श्री संदीप डे, राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी श्री विनितेश गुप्त, क्रीड़ा अधिकारी श्री रजत सिंह सभी विभागों के विभाग प्रमुख, सभी सहायक प्राध्यापक और छात्र-छात्राएं उपस्थित थे। सभी की उपस्थिति में सर्वप्रथम मां सरस्वती के छायाचित्र के सामने पुष्प अर्पित तथा दीप प्रज्वलित कर कार्यक्रम की शुरूआत किया गया।
सबसे पहले महाविद्यालय की डायरेक्टर श्रीमती रीनू जैन ने सभी नवप्रवेशी छात्र-छात्राओं को महाविद्यालय परिवार की तरफ से स्वागत अभिनंदन करते हुए बताया कि हमारा महाविद्यालय सन् 2008 से संचालित है जो समय के साथ नित नई ऊंचाईयों को छू रहा है। आज महाविद्यालय में 01 विषय में यूजी डिप्लोमा, 07 विषय में यूजी डिग्री, 02 विषय में पीजी डिप्लोमा, 08 विषय में पीजी डिग्री और 01 विषय में रिसर्च अध्ययन केंद्र संचालित हो रहा है।
उन्होंने कहा की हमारे छात्र-छात्राएं सभी विधाओं में जिला स्तर, राज्य स्तर एवं राष्ट्रीय स्तर पर लगातार पुरुस्कृत हो रहे है । राष्ट्रीय सेवा योजना के द्वारा महाविद्यालय में सभी प्रकार की गतिविधियों का सुचारू रूप से संचालन निरंतर होता रहता है। हमारे छात्र-छात्राएं विश्वविद्यालय के प्रावीण्य सूची में भी अपना जगह हर वर्ष बना रहे है । आगे उन्होंने बताया की के आर टेक्निकल कॉलेज संत गहिरा गुरु विश्वविद्यालय से सम्बद्ध, उच्च शिक्षा विभाग छत्तीसगढ़ से मान्यता प्राप्त, अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद नई दिल्ली से अनुमोदित और नैक से बी+ प्राप्त महाविद्यालय है। इसके साथ ही महाविद्यालय को आईएसओ सर्टिफिकेट भी मिला हुआ है। उन्होंने कहा की महाविद्यालय हमेशा अपने छात्र-छात्राओं को कुछ ना कुछ नया सिखाते रहता है। आप जो भी पाना चाहते हैं और उसके लिए महाविद्यालय से जो भी मदद चाहते है आप बिना किसी संकोच के अपने इस महाविद्यालय से कह सकते है । अंत में उन्होंने छात्र-छात्राओं को रोज कुछ नया सीखते रहने के लिए प्रेरित किया।
कार्यक्रम की अगली कड़ी में महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ.रितेश वर्मा ने अपने स्वागत उद्बोधन में कहा की राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 से आप सभी का सर्वांगीण विकास तो होगा ही साथ ही मूल्यपरक और कौशल विकास के साथ जेनेरिक इलेक्टिव विषय के अध्ययन से स्वरोजगार के अवसर में भी वृद्धि होगी। उन्होंने कहा की राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में सतत मूल्यांकन का प्रावधान है जिससे विद्यार्थियों के मानसिक उर्जा के साथ बौद्धिक क्षमता में भी वृद्धि होगी इसके साथ ही सेमेस्टर आधारित पाठ्यक्रम होने के कारण विद्यार्थियों को परीक्षा का तनाव नहीं होगा।
उन्होंने कहा की कि राष्ट्रीय शिक्षा नीति तीन/चार वर्षीय स्नातक पाठ्यक्रम क्रेडिट पर आधारित होने के साथ ही चॉइस बेस्ड क्रेडिट सिस्टम के अंतर्गत होंगे। आप तृतीय वर्ष पूर्ण करने पर स्नातक की उपाधि प्राप्त कर पाठ्यक्रम को छोड सकते है। जिन विद्यार्थियों को विषय विशेष में विशेषज्ञता प्राप्त करने या शोध करने की इच्छा हो वे पाठ्यक्रम को निरंतर चौथे वर्ष में जारी रख सकते हैं एवं ’ऑनर्स/ऑनर्स विथ रिसर्च’ की उपाधि चौथे वर्ष में प्राप्त कर सकते हैं। उन्होंने कहा की सतत आंतरिक मूल्यांकन में 30 प्रतिशत अंक एवं अंत सेमेस्टर परीक्षा में 70 प्रतिशत अंको का प्रावधान रखा गया है। विद्यार्थी को उत्तीर्ण होने हेतु इन दोनों को मिलाकर (आंतरिक एवं अंत सेमेस्टर परीक्षा) कुल 40 प्रशित प्राप्त करना अनिवार्य होगा। जेनेरिक एलेक्टिव के अंतर्गत कला/विज्ञान/वाणिज्य/बीसीए/बीबीए संकाय का विद्यार्थी अपने संकाय के अतिरिक्त अन्य संकाय के किसी एक विषय को अपनी इच्छानुसार ले सकता है।
उसके बाद उन्होंने सभी विभागप्रमुखों, राष्ट्रीय सेवा योजना के कार्यक्रम अधिकारी, रेडक्रॉस समन्वयक, क्रीड़ा अधिकारी और लाइब्रेरियन का परिचय सबसे कराया। उन्होंने अंत में सभी छात्र-छात्राओं को उनके उज्जवल भविष्य के लिए अग्रिम शुभकामनाये दीं।
महाविद्यालय के सलाहकार श्री राहुल जैन के ने छात्र छात्राओं से कहा कि आपका जीवन है जैसा आप सोचेंगे वैसा जिएंगे। आप तय कर लीजिए की आपको क्या बनना है उसके लिए पूरी तरह से लग जाइए। अपने काम को पूरी ईमानदारी के साथ करेंगे तभी आपको सफलता मिलेगी। आप सभी समाचार पत्र पढ़ने का आदत डालिए जिससे आप देश दुनिया की नई-नई जानकारियां प्राप्त कर आगे बढ़ सकते हैं। आज कल के प्रतिस्पर्धा के इस दौर में आपको ज्ञान के साथ-साथ कौशल कला का भी विकास करना होगा। निरंतर महाविद्यालय आने का फायदा यह होता है कि आप पाठ्यक्रम से अलग कौशल को भी अपने शिक्षकों से सीख जाते हैं । जीवन में आगे बढ़ने के लिए संकल्प, सफलता और अनुशासन का होना बहुत जरूरी है। आगे बढ़ने के लिए अपने अंदर का जुनून को बनाए रखना जरूरी है तभी आप सफलता प्राप्त कर सकते हैं। हार नहीं मानने की जज्बा, समय की पाबंदी के साथ धैर्य का होना जरूरी है तभी आप सफलता प्राप्त कर जीवन की हर परिस्थितियों से लड़कर आगे बढ़ सकते हैं। मेरा यह भी मानना है कि जो मेहनत करेगा वही आगे बढ़ेगा। सपने देखना बहुत जरूरी है आगे बढ़ने के लिए, सपनों को हासिल करने के लिए कठोर परिश्रम कीजिए अपने अंदर की महत्वाकांक्षाओं को जगाइए एक दिन आपका सपना जरूर सच होगा। अंत में उन्होंने पूरे महाविद्यालय परिवार और छात्र-छात्राओं को अपनी ओर से शुभकामनाएं दी।